लोगन नसीला जिनिस अउ दारू काबर पीथें?
जादातर लोगन अपन जिनगी के समसिया ल हल करे बर नसा-पानी करथें। एमा सबो किसम के मनखे सामिल हें। जिंखर महतारी-बाप मन दारू या फेर दूसर नसा करथें, उंखर लइकामन तको अइसने करथें। लइकामन अपन दाई-ददा ल देख के अपन जिनगी के समसिया ल नसा के जरिए हल करे के कोसिस करथें। दाई-ददा के ये 'कमजोरी' लइकामन म आ जथे। अउ लइकामन अपन महतारी-बाप ल देखथें के ओमन समसिया ले बचे बर अइसन करत हें त वहु मन ए बेवहार ल सीख जथें।
दारू अउ नसीला जिनिस के जादा उपयोग, ओमन घलो करथें जेनमन अपन जिनगी म दयनीय हालत ले गुजर हें, अउ एला बदले के बारे म उंखर भीतर कोनो उम्मीद नइ रहिगे हे। जेनमन ल घर ले निकाल दे गेहे, जेनमन अब्बड़ समसिया ले घिरे हें, जइसे नौकरी ले निकाले जाना या काम-कमई छूट जाना, परिवार के कोनो सदस के मउत, या फेर कोनो साथी दुआरा तियाग दिए जाना, अइसन मन के दारू अउ नसीला जिनिस के आदी बने से खतरा जादा होथे। माईलोगन ल जब ए लगथे के अपन जिनगी म उंखर कोनो नियंतरन नइ रहिगे हे या ओला बदले के ताकत नइ रहिगे हे, त वहु मन दारू अउ नसीला जिनिस के दुरुपयोग करे ल लगथें। अइसन माईलोगन ल लगथे के ओमन अपन पति के दया उपर निरभर हें। जेन माईलोगन ल जातसमाज म निचला दरजा मिले हुए हे, ओमन अपन आप ल जादा महत्व नइ दे पाएं। अउ नसा-पानी करे बर धर लेथें। लेकिन नसा-पानी समसिया ल अउ बदतर बना देथें अउ लोगन अपन जिनगी ल बेहतर करे बर ओतना सक्षम नइ रहि जाएं। अपन समसिया ल हल करे के दूसर तरीका ढूंढे के बजाए, नसा-पानी करइया जादातर लोगन मन समसिया ले बचे अउ ओला भूले बर अपन समय, पइसा अउ स्वास्थ्य ल बरबाद करत रहिथें।
जब कोनो मनखे ह नसीला जिनिस या फेर दारू के भारी दुरुपयोग करे बर लगथे, त ओखर मन अउ सरीर, दुनो अइसन नसा बर आसरित हो जथे। जब ओमन ल नसा के जरुवत होथे त एला निरभरता कहिथें। जब कोनो मनखे के सरीर ल नसा के अतेक जादा जरुवत होए बर लगथे, के ओखर बिना ओहा बीमार रेहे ल लगथे त समज लव के ओ मनखे ल नसा के सारीरिक लत लग गेहे। दारू अउ कईठन नसीला जिनिस, लत के कारन बन जथें। एक पइत कोनो किसम के नसा के आदी होए के बाद मनखे अपन जरुवत ल पूरा करे बर अउ जादा नसा करे बर धर लेथे।